Holistic Health through Yoga and Naturopathy |Vedic ashtang yog centreVedic Ashtang Yog
Vedic Ashtang Yog Centre has conducted a workshop in Gargi College, Delhi University on 14.08.19 : Holistic Health through Yoga and Naturopathy. Students from Psychology Department attended the workshop and practiced pranayama under the guidance of Acharya Ashok. Dr Pratima explained the concept of Naturopathy and how imbalances of five elements ( water, fire, earth, space and air) causes disease. Students have clarified their doubts in question-answer session.
Holistic Health through Yoga and Naturopathy |Vedic ashtang yog centreVedic Ashtang Yog
Vedic Ashtang Yog Centre has conducted a workshop in Gargi College, Delhi University on 14.08.19 : Holistic Health through Yoga and Naturopathy. Students from Psychology Department attended the workshop and practiced pranayama under the guidance of Acharya Ashok. Dr Pratima explained the concept of Naturopathy and how imbalances of five elements ( water, fire, earth, space and air) causes disease. Students have clarified their doubts in question-answer session.
Fitness class hindi
Health and fitness, these are primarily the words used to portray people’s physiological condition. Medicine, recreation and sports are essential aspects of the health and fitness industry, but you will find it also overlaps into other fields like tourism, education, etc…. Get all the info you need here.
The industry offers all kinds of products and services, all designed to sustain or enhance physical health. There are medical and sports facilities devoted entirely for health and fitness, and diet regimens for weight loss programs are usually accompanied by workout routines that not only are meant for addressing weight but also for promoting general fitness and healthy lifestyles.
#fitness #gym #health
fitness,fitness gym,fitness goals
Mental Health Matters : Foundations of Mental WellnessBimal Raturi
Bimal Raturi, founder of Himalayan Education Initiatives, presents a insightful session on mental health in Hindi. This SlideShare delves into 10 crucial ways to nurture your mental well-being. Discover practical strategies to promote mental health, including mindfulness exercises, stress management techniques, and the importance of social connections. Learn about the significance of a balanced diet, exercise, and quality sleep. Explore the benefits of seeking professional help when needed and understanding the power of gratitude. Bimal Raturi's session emphasizes the importance of self-care, offering a holistic approach to maintaining mental wellness and fostering resilience in today's challenging world.
जो हो रहा हे अच्छा हो रहा हे
अच्छा हुआ जो हुआ क्यों डरे ,अच्छा ही होगा फिक्र क्यों करें
हम छोटी छोटी बातो से डर जाते हे जैसे की मेरा रिजल्ट अच्छा नहीं आया तो मुझे कोई पूछता नहीं किसी ने मेरा अपमान कर दिया तो मेरा कोई सम्मान नहीं करता | मान से बड़ा हे स्वमान हमें स्व को मान देना चाहिए ।कोई हमें मान दे या न दे हमें उसकी उम्मीद नहीं रखनी चाहिए और याद अखना चाहिए की कुछ गलत अगर होता भी हे तो वो कुछ समय के लिए हमें दुःख देता हेहे किन अंत में तो सबकुछ अच्छा ही होता हे |इसलिए हमें हमेशा यह सोचकर चलना चाहिए की जो हो रहा हे अच्छा हो रहा हे | जो हुआ वह अच्छा हुआ | जो होगा वह भी अच्छा ही होगा |
सकारात्मक सोच
हमें अपने आप पर विशवास करके सकारात्मक सोच के साथ आगे बढ़ना चाहिए | कितनी भी बुरी परिस्थिति क्यों न आये हमें आगे बढ़ते रहना चाहिए |
हमारे जीवन में जब कोई प्रॉब्लम आती है, उसके साथ हमारे जीवन में कुछ परिवर्तन भी आते हैं,उस प्रॉब्लम का आसानी से सामना करने के लिए सबसे पहले हमें उस प्रॉब्लम को स्वीकार करना जरूरी है । जब कोई प्रॉब्लम आती है, तो हमारा मन कुछ प्रश्नों में उलझ जाता है ,हमारा मन प्रश्नों से भर जाता है ,जब हम किसी प्रश्नों से गिर जाते हैं ।तब हमें क्योंकि बहुत सारे प्रश्न रहते हैं तो हमें उनका जवाब नहीं मिल पाता, हमारा मन ठीक से काम नहीं कर पाता । आजकल एक प्रॉब्लम आती है प्रॉब्लम छोटी होती है लेकिन उसका हल मिलना मुश्किल हो जाता है जब हल नहीं मिलता है तो हम डर जाते हैं डर की वजह से हम सिक्योर फिल नहीं करते इसकी वजह से छोटी प्रॉब्लम होने के बावजूद भी जब वह प्रॉब्लम से बाहर नहीं निकल पाते तो शारीरिक परेशानियां सामने आने लगती है कभी-कभी किसी रिश्ते में कोई प्रॉब्लम हो जाता है या व्यापार में कोई प्रॉब्लम आ जाता है तो उसका प्रभाव इतना बड़ा हो जाता है कि हम उसे सह नहीं पाते प्रॉब्लम एक ही रहती है उसको आसानी से बाहर नहीं निकल पाने के कारण हम बहुत सी परेशानियों में फंस जाते हैं आजकल के बच्चों में भी हम देखते हैं कि उन्होंने तय किया था कि उनके जीवन में क्या होना चाहिए आगे चलकर अपना भविष्य कैसा बनाना चाहते हैं अगर वैसा आगे चलकर नहीं होता,जो उन्होंने सोचा था वह अगर बच्चे नहीं कर पाते, नहीं बन पाते, जो चाहा था वह नहीं मिलता तो वह अपने आप को भी कुछ कर लेते हैं। या परेशान हो जाते हैं, डर जाते हैं ,निराश हो जाते हैं, इसकी वजह से परिस्थिति एक होते हुए भी उसका असर जो है वह एक नहीं रहता है उसका प्रभाव काफी जगहों पर दिखने लगता है क्योंकि हम सिर्फ एक छोटी परेशानी का सामना करने में भी असमर्थ होते हैं। उसकी वजह से हमारा मन और कमजोर होता जाता है, जो प्रॉब्लम है उसका हल नहीं मिला उसके बाद उसकी वजह से हमारे मन में डर पैदा हुआ बाद में हमें गुस्सा आया गुस्से की वजह से हमारा व्यवहार बदल गया और वह व्यवहार रोज ऐसा ही चलने लगा वह व्यवहार वह परिस्थिति में हम धीरे-धीरे चलने लगे हमें पता ही नहीं चला कि हम कब गुस्से वाले व्यवहार में आ गए इसकी वजह से हमारा मन सही सोचने की क्षमता खो देता है लेकिन हमें यह लगता है कि हम सही सोच रहे हैं या गलत, हम वो परिस्थिति को एक्सेप्ट करते हैं आर आगे बढ़ते जाते हैं लेकिन हमें यह पता नहीं होता है कि हम इन प्रॉब्लम्स के साथ हमारा मन कितना एडजस्ट कर पा रहा है और हमारे मन की क्षमता कितनी है। जब कोई प्रॉब्लम आती है तो चलो प्रॉब्लम आई है इसका हम सामना करेंगे और बहुत हिम्मत से सामना करेंगे यह सोच करना क्रिएट
जिम क्यों करना चाहिए?
जिम करने के कई फायदे है , उनमे से कुछ नीचे दिए गए है;
>जिम जाने से हम स्वस्थ रहते है,
>हमारा शारीरिक (Physical) और मानसिक (Mental) स्वस्थ बेहतर होता है,
>जिम जाने से एंडोर्फिन्स का स्त्राव होता है जिससे हमे अच्छा महसूस होता है, और हीलिंग तेज़ी से होती है,
>व्यक्तिगत लक्ष्यों के पाने में भी जिम से मदद मिलती है,
>जिम करने से सोशल सर्किल बनता है,
>जिम जाने से तनाव कम होता है ,
>नियमित जिम करने से हम कई बीमारियों जैसे ; हृदय रोग, रक्तचाप, मधुमेह, मोटापा इत्यादि से दूर रहते है,
> जिम करने से सेक्सुअल जीवन भी बेहतर होता है।
Benefits of gym
Table of Contents
जिम जाने की सही उम्र क्या है?
जिम कब जाना चाहिए सुबह या शाम?
जिम कितने घंटे करना चाहिए?
जिम का साइड इफेक्ट क्या है?
क्या जिम चिंता को कम कर सकता है?
जिम जाने से बेहतर क्या है?
बॉडी बनाने में कितना समय लगता है?
1 दिन में कितनी बार जिम जाना चाहिए?
क्या 4 घंटे वर्कआउट करना बुरा है?
क्या दौड़ने से चिंता बढ़ सकती है?
जिम में मसल्स बनाने में कितना समय लगता है?
जिम करने के बाद कितने घंटे सोना चाहिए?
शेप में आने के लिए कैसे खाएं?
दुनिया का नंबर वन प्रोटीन कौन सा है?
जिम करने वाले को 1 दिन में कितना प्रोटीन लेना चाहिए?
जिम जाने की सही उम्र क्या है?
17-18 साल की उम्र जिम जाने के लिए सबसे अच्छी होती है जहां बिना किसी परेशानी के जिम में कसरत करने के फायदे प्राप्त किए जा सकते हैं। यह पुरुषों में मजबूत, मांसल, और स्वस्थ काया और महिलाओं में पतली और स्वस्थ रूपरेखा का कारण बन सकता है।
जिम कब जाना चाहिए सुबह या शाम?
जिम जाने के लिए दोपहर 2 बजे से शाम के 6 बजे, आपके शरीर का तापमान अपने उच्चतम स्तर पर होता है। इसका मतलब यह है कि आप उस समय के दौरान व्यायाम करेंगे जब आपका शरीर सबसे अधिक तैयार होगा, संभावित रूप से यह दिन का सबसे प्रभावी समय होगा।
जिम कितने घंटे करना चाहिए?
शुरुआत में आप 30 मिनट या उससे कम के छोटे वर्कआउट करें। जैसे-जैसे आप महसूस करें कि आपकी क्षमता बढ़ती जा रही है, हर हफ्ते कुछ और मिनट बढ़ाये। अमेरिकन हार्ट एसोसिएशन प्रति सप्ताह 75-150 मिनट की एरोबिक गतिविधि के साथ-साथ दो शक्ति-प्रशिक्षण (strength training) सत्रों की सलाह देता है।
Gym timing
जिम का साइड इफेक्ट क्या है?
नियमित अत्यधिक व्यायाम से थकान हो सकती है, जिससे आपके शरीर की समग्र कार्यक्षमता बाधित हो सकती है। इस तरह के वर्कआउट से आराम की अवधि भी लंबी हो जाती है जो आपकी दिनचर्या को बुरी तरह प्रभावित कर सकती है। बार-बार व्यायाम करने से चोट भी लग सकती है, जिसके परिणामस्वरूप प्रेरणा की कमी या बर्न आउट हो सकता है। यह सलाह दी जाती है कि अपनी शारीरिक गतिविधि के स्तर को धीरे-धीरे बढ़ाएं।
Gym disadvantages
क्या जिम चिंता को कम कर सकता है?
व्यायाम तनाव निवारक के रूप में कार्य करता है। सक्रिय रहना आपके फील-गुड एंडोर्फिन को बढ़ा सकता है और आपको दैनिक चिंताओं से दूर रखता है। नियमित व्यायाम से हमारा आत्म- विश्वास बढ़ता है और तनाव और चिंता कम होती है। यह मानसिक स्वास्थ्य समस्याओं के विकास को रोकने और मानसिक स्वास्थ्य समस्याओं का सामना कर रहे लोगों के जीवन की गुणवत्ता में सुधार लाता है।
Stress free
जिम जाने से बेहतर क्या है?
घर पर व्यायाम करना उतना ही प्रभावी हो सकता है। जबकि जिम समर्पित स्थान प्रदान करते हैं, होम वर्कआउट अधिक लचीलापन प्रदान करते हैं। दक्षता को अधिकतम करने के लिए अपने समय और उपकरणों का उपयोग करना एक बेहतरीन कसरत की कुंजी है।
घर
अच्छी आदतों को अपनाकर हम अपनी जिंदगी बदल सकते हैं। ये बिलकुल सच है कि आप किसी भी बुरी आदत को रातों-रात नही छोड़ सकते और आदतों को छोड़ना थोड़ा कठिन होता है लेकिन जल्द ही आप सकारात्मक परिणाम महसूस करेंगे और जल्द की आपको एक खुशहाल, स्वस्थ और अधिक उत्पादक जीवन शैली के लाभ समझ में आएंगे।
“सद्गुरु” के तौर पर प्रख्यात जग्गी वासुदेव का व्यक्तित्व किसी परिचय का मोहताज नहीं है। वह एक महान लेखक होने के साथ-साथ योग गुरु भी हैं। इनके द्वारा संचालित ईशा फाउंडेशन पर्यावरण और समाज सेवा के कार्यों में प्रमुख रूप से सक्रिय भूमिका निभा रहा है।
ब्रह्मचारी गिरीश
कुलाधिपति, महर्षि महेश योगी वैदिक विश्वविद्यालय
एवं महानिदेशक, महर्षि विश्व शांति की वैश्विक राजधानी
भारत का ब्रह्मस्थान, करौंदी, जिला कटनी (पूर्व में जबलपुर), मध्य प्रदेश
Fitness class hindi
Health and fitness, these are primarily the words used to portray people’s physiological condition. Medicine, recreation and sports are essential aspects of the health and fitness industry, but you will find it also overlaps into other fields like tourism, education, etc…. Get all the info you need here.
The industry offers all kinds of products and services, all designed to sustain or enhance physical health. There are medical and sports facilities devoted entirely for health and fitness, and diet regimens for weight loss programs are usually accompanied by workout routines that not only are meant for addressing weight but also for promoting general fitness and healthy lifestyles.
#fitness #gym #health
fitness,fitness gym,fitness goals
Mental Health Matters : Foundations of Mental WellnessBimal Raturi
Bimal Raturi, founder of Himalayan Education Initiatives, presents a insightful session on mental health in Hindi. This SlideShare delves into 10 crucial ways to nurture your mental well-being. Discover practical strategies to promote mental health, including mindfulness exercises, stress management techniques, and the importance of social connections. Learn about the significance of a balanced diet, exercise, and quality sleep. Explore the benefits of seeking professional help when needed and understanding the power of gratitude. Bimal Raturi's session emphasizes the importance of self-care, offering a holistic approach to maintaining mental wellness and fostering resilience in today's challenging world.
जो हो रहा हे अच्छा हो रहा हे
अच्छा हुआ जो हुआ क्यों डरे ,अच्छा ही होगा फिक्र क्यों करें
हम छोटी छोटी बातो से डर जाते हे जैसे की मेरा रिजल्ट अच्छा नहीं आया तो मुझे कोई पूछता नहीं किसी ने मेरा अपमान कर दिया तो मेरा कोई सम्मान नहीं करता | मान से बड़ा हे स्वमान हमें स्व को मान देना चाहिए ।कोई हमें मान दे या न दे हमें उसकी उम्मीद नहीं रखनी चाहिए और याद अखना चाहिए की कुछ गलत अगर होता भी हे तो वो कुछ समय के लिए हमें दुःख देता हेहे किन अंत में तो सबकुछ अच्छा ही होता हे |इसलिए हमें हमेशा यह सोचकर चलना चाहिए की जो हो रहा हे अच्छा हो रहा हे | जो हुआ वह अच्छा हुआ | जो होगा वह भी अच्छा ही होगा |
सकारात्मक सोच
हमें अपने आप पर विशवास करके सकारात्मक सोच के साथ आगे बढ़ना चाहिए | कितनी भी बुरी परिस्थिति क्यों न आये हमें आगे बढ़ते रहना चाहिए |
हमारे जीवन में जब कोई प्रॉब्लम आती है, उसके साथ हमारे जीवन में कुछ परिवर्तन भी आते हैं,उस प्रॉब्लम का आसानी से सामना करने के लिए सबसे पहले हमें उस प्रॉब्लम को स्वीकार करना जरूरी है । जब कोई प्रॉब्लम आती है, तो हमारा मन कुछ प्रश्नों में उलझ जाता है ,हमारा मन प्रश्नों से भर जाता है ,जब हम किसी प्रश्नों से गिर जाते हैं ।तब हमें क्योंकि बहुत सारे प्रश्न रहते हैं तो हमें उनका जवाब नहीं मिल पाता, हमारा मन ठीक से काम नहीं कर पाता । आजकल एक प्रॉब्लम आती है प्रॉब्लम छोटी होती है लेकिन उसका हल मिलना मुश्किल हो जाता है जब हल नहीं मिलता है तो हम डर जाते हैं डर की वजह से हम सिक्योर फिल नहीं करते इसकी वजह से छोटी प्रॉब्लम होने के बावजूद भी जब वह प्रॉब्लम से बाहर नहीं निकल पाते तो शारीरिक परेशानियां सामने आने लगती है कभी-कभी किसी रिश्ते में कोई प्रॉब्लम हो जाता है या व्यापार में कोई प्रॉब्लम आ जाता है तो उसका प्रभाव इतना बड़ा हो जाता है कि हम उसे सह नहीं पाते प्रॉब्लम एक ही रहती है उसको आसानी से बाहर नहीं निकल पाने के कारण हम बहुत सी परेशानियों में फंस जाते हैं आजकल के बच्चों में भी हम देखते हैं कि उन्होंने तय किया था कि उनके जीवन में क्या होना चाहिए आगे चलकर अपना भविष्य कैसा बनाना चाहते हैं अगर वैसा आगे चलकर नहीं होता,जो उन्होंने सोचा था वह अगर बच्चे नहीं कर पाते, नहीं बन पाते, जो चाहा था वह नहीं मिलता तो वह अपने आप को भी कुछ कर लेते हैं। या परेशान हो जाते हैं, डर जाते हैं ,निराश हो जाते हैं, इसकी वजह से परिस्थिति एक होते हुए भी उसका असर जो है वह एक नहीं रहता है उसका प्रभाव काफी जगहों पर दिखने लगता है क्योंकि हम सिर्फ एक छोटी परेशानी का सामना करने में भी असमर्थ होते हैं। उसकी वजह से हमारा मन और कमजोर होता जाता है, जो प्रॉब्लम है उसका हल नहीं मिला उसके बाद उसकी वजह से हमारे मन में डर पैदा हुआ बाद में हमें गुस्सा आया गुस्से की वजह से हमारा व्यवहार बदल गया और वह व्यवहार रोज ऐसा ही चलने लगा वह व्यवहार वह परिस्थिति में हम धीरे-धीरे चलने लगे हमें पता ही नहीं चला कि हम कब गुस्से वाले व्यवहार में आ गए इसकी वजह से हमारा मन सही सोचने की क्षमता खो देता है लेकिन हमें यह लगता है कि हम सही सोच रहे हैं या गलत, हम वो परिस्थिति को एक्सेप्ट करते हैं आर आगे बढ़ते जाते हैं लेकिन हमें यह पता नहीं होता है कि हम इन प्रॉब्लम्स के साथ हमारा मन कितना एडजस्ट कर पा रहा है और हमारे मन की क्षमता कितनी है। जब कोई प्रॉब्लम आती है तो चलो प्रॉब्लम आई है इसका हम सामना करेंगे और बहुत हिम्मत से सामना करेंगे यह सोच करना क्रिएट
जिम क्यों करना चाहिए?
जिम करने के कई फायदे है , उनमे से कुछ नीचे दिए गए है;
>जिम जाने से हम स्वस्थ रहते है,
>हमारा शारीरिक (Physical) और मानसिक (Mental) स्वस्थ बेहतर होता है,
>जिम जाने से एंडोर्फिन्स का स्त्राव होता है जिससे हमे अच्छा महसूस होता है, और हीलिंग तेज़ी से होती है,
>व्यक्तिगत लक्ष्यों के पाने में भी जिम से मदद मिलती है,
>जिम करने से सोशल सर्किल बनता है,
>जिम जाने से तनाव कम होता है ,
>नियमित जिम करने से हम कई बीमारियों जैसे ; हृदय रोग, रक्तचाप, मधुमेह, मोटापा इत्यादि से दूर रहते है,
> जिम करने से सेक्सुअल जीवन भी बेहतर होता है।
Benefits of gym
Table of Contents
जिम जाने की सही उम्र क्या है?
जिम कब जाना चाहिए सुबह या शाम?
जिम कितने घंटे करना चाहिए?
जिम का साइड इफेक्ट क्या है?
क्या जिम चिंता को कम कर सकता है?
जिम जाने से बेहतर क्या है?
बॉडी बनाने में कितना समय लगता है?
1 दिन में कितनी बार जिम जाना चाहिए?
क्या 4 घंटे वर्कआउट करना बुरा है?
क्या दौड़ने से चिंता बढ़ सकती है?
जिम में मसल्स बनाने में कितना समय लगता है?
जिम करने के बाद कितने घंटे सोना चाहिए?
शेप में आने के लिए कैसे खाएं?
दुनिया का नंबर वन प्रोटीन कौन सा है?
जिम करने वाले को 1 दिन में कितना प्रोटीन लेना चाहिए?
जिम जाने की सही उम्र क्या है?
17-18 साल की उम्र जिम जाने के लिए सबसे अच्छी होती है जहां बिना किसी परेशानी के जिम में कसरत करने के फायदे प्राप्त किए जा सकते हैं। यह पुरुषों में मजबूत, मांसल, और स्वस्थ काया और महिलाओं में पतली और स्वस्थ रूपरेखा का कारण बन सकता है।
जिम कब जाना चाहिए सुबह या शाम?
जिम जाने के लिए दोपहर 2 बजे से शाम के 6 बजे, आपके शरीर का तापमान अपने उच्चतम स्तर पर होता है। इसका मतलब यह है कि आप उस समय के दौरान व्यायाम करेंगे जब आपका शरीर सबसे अधिक तैयार होगा, संभावित रूप से यह दिन का सबसे प्रभावी समय होगा।
जिम कितने घंटे करना चाहिए?
शुरुआत में आप 30 मिनट या उससे कम के छोटे वर्कआउट करें। जैसे-जैसे आप महसूस करें कि आपकी क्षमता बढ़ती जा रही है, हर हफ्ते कुछ और मिनट बढ़ाये। अमेरिकन हार्ट एसोसिएशन प्रति सप्ताह 75-150 मिनट की एरोबिक गतिविधि के साथ-साथ दो शक्ति-प्रशिक्षण (strength training) सत्रों की सलाह देता है।
Gym timing
जिम का साइड इफेक्ट क्या है?
नियमित अत्यधिक व्यायाम से थकान हो सकती है, जिससे आपके शरीर की समग्र कार्यक्षमता बाधित हो सकती है। इस तरह के वर्कआउट से आराम की अवधि भी लंबी हो जाती है जो आपकी दिनचर्या को बुरी तरह प्रभावित कर सकती है। बार-बार व्यायाम करने से चोट भी लग सकती है, जिसके परिणामस्वरूप प्रेरणा की कमी या बर्न आउट हो सकता है। यह सलाह दी जाती है कि अपनी शारीरिक गतिविधि के स्तर को धीरे-धीरे बढ़ाएं।
Gym disadvantages
क्या जिम चिंता को कम कर सकता है?
व्यायाम तनाव निवारक के रूप में कार्य करता है। सक्रिय रहना आपके फील-गुड एंडोर्फिन को बढ़ा सकता है और आपको दैनिक चिंताओं से दूर रखता है। नियमित व्यायाम से हमारा आत्म- विश्वास बढ़ता है और तनाव और चिंता कम होती है। यह मानसिक स्वास्थ्य समस्याओं के विकास को रोकने और मानसिक स्वास्थ्य समस्याओं का सामना कर रहे लोगों के जीवन की गुणवत्ता में सुधार लाता है।
Stress free
जिम जाने से बेहतर क्या है?
घर पर व्यायाम करना उतना ही प्रभावी हो सकता है। जबकि जिम समर्पित स्थान प्रदान करते हैं, होम वर्कआउट अधिक लचीलापन प्रदान करते हैं। दक्षता को अधिकतम करने के लिए अपने समय और उपकरणों का उपयोग करना एक बेहतरीन कसरत की कुंजी है।
घर
अच्छी आदतों को अपनाकर हम अपनी जिंदगी बदल सकते हैं। ये बिलकुल सच है कि आप किसी भी बुरी आदत को रातों-रात नही छोड़ सकते और आदतों को छोड़ना थोड़ा कठिन होता है लेकिन जल्द ही आप सकारात्मक परिणाम महसूस करेंगे और जल्द की आपको एक खुशहाल, स्वस्थ और अधिक उत्पादक जीवन शैली के लाभ समझ में आएंगे।
“सद्गुरु” के तौर पर प्रख्यात जग्गी वासुदेव का व्यक्तित्व किसी परिचय का मोहताज नहीं है। वह एक महान लेखक होने के साथ-साथ योग गुरु भी हैं। इनके द्वारा संचालित ईशा फाउंडेशन पर्यावरण और समाज सेवा के कार्यों में प्रमुख रूप से सक्रिय भूमिका निभा रहा है।
ब्रह्मचारी गिरीश
कुलाधिपति, महर्षि महेश योगी वैदिक विश्वविद्यालय
एवं महानिदेशक, महर्षि विश्व शांति की वैश्विक राजधानी
भारत का ब्रह्मस्थान, करौंदी, जिला कटनी (पूर्व में जबलपुर), मध्य प्रदेश
1. Meditation
क
ै से हैं दोस्तों? उम्मीद करता हु सब अच्छे होंगे । दोस्तों आज क
े आर्टिकल में बार करेंगे meditation
benefits-ध्यान करने क
े लाभ क
े बारे में । ध्यान का अद्वितीय सौंदर्य यह है कि इसक
े फायदे आपको न क
े वल
शारीरिक स्वास्थ्य में सुधार करते हैं, बल्कि मानसिक और आत्मिक स्वास्थ्य को भी बेहतर बनाते हैं।
ध्यान से आप तनाव को कम कर सकते हैं, विचारों को शांत कर सकते हैं, और आपक
े मानसिक ख्यालों को
सकारात्मक दिशा में मोड़ सकते हैं। इसक
े अलावा, यह आपको आत्मज्ञान में वृद्धि करने में मदद कर सकता है
और आपक
े जीवन को शांत, सुखमय, और संतुलित बनाने का मार्ग दिखाता है।
Meditation kaise karte hain
मेडिटेशन एक प्राचीन तकनीक है जिसका उपयोग हम मानसिक शांति, आत्मज्ञान, और स्वास्थ्य क
े लिए करते
हैं।
यह विशेष ध्यान और आत्मसमर्पण की प्रक्रिया है जिसमें हम अपने मन को शांति और स्थिरता की दिशा में
मोड़ते हैं।
इस लेख में, हम आपको मेडिटेशन क
ै से करें, इसक
े विभिन्न प्रकार, तरीकों, और उपायों क
े बारे में जानकारी देंगे जो
आपक
े जीवन को सकारात्मक दिशा में मोड़ सकते हैं।
Meditation करने का आसान तरीका:-
Meditation एक ध्यानिक अभ्यास है जो हमारे मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य को सुधारने का एक प्रमुख
तरीका है। इसका मुख्य उद्देश्य हमारे मन को शांति और सुख की ओर ले जाना है, और यह हमारे जीवन में
सकारात्मक परिवर्तन लाने में मदद कर सकता है।
मेडिटेशन करने क
े लिए, सबसे पहले आपको एक शांत और सुंदर स्थान चुनना होगा, जहां पर आपको किसी भी
प्रकार की शोर ना हो। आप एक योग आसन पर बैठ सकते हैं या सीधे ज़मीन पर भी बैठकर मेडिटेशन कर सकते
हैं।
आपको अपनी आँखें बंद करनी है और अपने शारीरिक और मानसिक स्थिति को स्थिर रखना है। सांस को ध्यान से
लेते हुए, आपको अपने मन को एक शांति भावना या मंत्र पर क
ें द्रित करना होगा। अगर आपका ध्यान भटकता है,
तो उसे धीरे-धीरे फिर उसी शांति भावना पर लाइए।
2. ध्यान में विलीन होने क
े बाद, आपको अपने मानसिक और शारीरिक स्थिति में सुधार महसूस होगा। आपको
अंतर्निहित शांति और सुख का अनुभव होगा, जो आपक
े जीवन को सकारात्मक तरीक
े से प्रभावित करेगा।
रज़ाना इस प्रक्रिया को करने से आपका मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य सुधर जाता है। मेडिटेशन क
े नियमित
अभ्यास से आप अपने जीवन में शांति और सुख का आनंद उठा सकते हैं।
Meditation karne ke fayde
Meditation करने क
े फायदे इस प्रकार हैं:-
मानसिक शांति: meditation मानसिक तनाव को कम करने और मानसिक शांति को बढ़ाने में मदद करता है। यह
मन को शांति और सुख की ओर ले जाने में सहायक होता है।
स्ट्रेस कम करना: यह स्ट्रेस और चिंता को कम करक
े मानसिक स्वास्थ्य को सुधारता है और शारीरिक स्वास्थ्य को
भी बेहतर बनाता है।
आत्म-संयम: meditation आत्म-संयम और संयम विकसित करने में मदद करता है, जिससे आप अपने
भावनाओं और प्रतिक्रियाओं पर नियंत्रण पा सकते हैं।
शारीरिक स्वास्थ्य: नियमित मेडिटेशन से ब्लड प्रेशर नियंत्रित रहता है, हृदय की स्वास्थ्य सुधरती है और
शारीरिक स्वास्थ्य को बेहतर बनाता है।
स्पिरिचुअल अनुभव: कई लोग मेडिटेशन क
े माध्यम से आध्यात्मिक अनुभव प्राप्त करते हैं, जो उनक
े जीवन को
दिव्यता और मानवता की दिशा में बढ़ावा देता है।
मेडिटेशन क
े लाभ व्यक्ति क
े जीवन में अद्भुत बदलाव ला सकते हैं, और यह सकारात्मक जीवन की ओर ले जाती
है।
इसे भी पढ़े- testosterone kaise badhaye
इसे भी पढ़े- mental stress kaise dur kare
निष्कर्ष
Meditation करने से मानसिक शांति और स्ट्रेस कम होता है, और यह आत्म-संयम और शारीरिक स्वास्थ्य में
सुधार प्रदान कर सकता है।
3. तो दोस्तों आज हमने जाना की meditation क्या होता है, meditation क
ै से करते है और इसक
े लाभ क्या है।
आर्टिकल पसंद आया तो कॉमेंट में ज़रूर बताना । मिलते है नए आर्टिकल क
े साथ। तब तक क
े लिए हेल्थी रहें खुश
रहें ।