आज कल मधुमक्खी पालन ने कम लगत वाला कुटीर उद्योग का दर्जा ले लिया है। ग्रामीण भूमिहीन बेरोजगार किसानो के लिए आमदनी का एक साधन बन गया है मधुमक्खी पालन से जुड़े कार्य जैसे बढईगिरी, लोहारगीरी एवं शहद विपणन में भी रोजगार का अवसर मिलता है ।
1. मधुमक्खी पालन की जानकारी
डॉ. ईश्वर प्रकाश शमाा
(वैज्ञाननक)
पतंजनल अनुसंधान संस्थान, हररद्वार, उत्तराखंड
2. मधुमक्खी पालन
• कृ षि क्रियाएं
• लघु व्यवसाय
• बड़े व्यवसाय
• कृ षि और बगवानी
• कृ षि योग्य भूमि
• कृ षि का षवकास
• अन्य व्यसाय
मधुमक्खी पालन
•िानव जाती को लाभान्न्वत कर रहा
है
•कि खर्चीला घरेलु उद्योग है।
•न्जसिे आय, रोजगार व वातावरण
शुद्ध रखने की क्षिता है।
•कृ षि व बागवानी उत्पादन बढ़ाने की
क्षिता भी रखता है।
3. मधुमक्खी पालन
•िोन सिुदाय िें रहने वाली कीटों वगग; अनुक
ू ल कृ त्रिि ग्रह (हाईव); शहद एवं
िोि
•अन्य पदार्ग, जैसे गोंद (प्रोपोमलस, रायल जेली, डंक-षवि)
•फसलो की उपज िें लगभग एक र्चैर्ाई अततररक्त बढ़ोतरी हो जाती है
4. मधुमक्खी पालन
•आज कल मधुमक्खी पालन ने कम लगत वाला क
ु टीर उद्योग का दजाा ले
ललया है। ग्रामीण भूलमहीन बेरोजगार ककसानो क
े ललए आमदनी का एक साधन
बन गया है मधुमक्खी पालन से जुड़े काया जैसे बढईगगरी, लोहारगीरी एवं
शहद ववपणन में भी रोजगार का अवसर लमलता है ।
लाभ:
रोजगार और आय क
े साधन हेतु
यह सरल और सस्ता उद्योग है
कृ षि, उद्यातनकी एवं वातनकी फसलों िें गुणवत्ता व उपज बढाने
हेतु
6. मधुमक्खी पररवार
रानी : यह पूणग षवकमसत िादा होती है एवं पररवार की जननी होती है।
रानी िधुिक्खी का कायग अंडे देना है अछे पोिण वातावरण िें एक
इटैमलयन जाती की रानी एक ददन िें १५००-१८०० अंडे देती है। तर्ा
देशी िक्खी करीब ७००-१००० अंडे देती है। इसकी उम्र औसतन २-३ विग
होती है।
कमेरी/श्रलमक : यह अपूणग िादा होती है और िौनगृह क
े सभी कायग जैसे
अण्डों बच्र्चों का पालन पोिण करना, फलों तर्ा पानी क
े स्िोतों का
पता लगाना, पराग एवं रस एकि करना, पररवार तर्ा छतो की
देखभाल, शिुओं से रक्षा करना इत्यादद इसकी उम्र लगभग २-३ िहीने
होती है।
नर मधुमक्खी / ननखट्टू : यह रानी से छोटी एवं किेरी से बड़ी होती
है। रानी िधुिक्खी क
े सार् सम्भोग क
े मसवा यह कोई कायग नही करती
सम्भोग क
े तुरंत बाद इनकी िृत्यु हो जाती है और इनकी औसत आयु
करीब ६० ददन की होती है।
13. मधुमक्खी पररवार का उनित रखरखाव एवं प्रबंधन
िधुिक्खी पररवारों की सािान्य गततषवधधयााँ 10-38 सेंटीग्रेट की बीर्च िें होती
है
उधर्चत प्रबंध द्वारा प्रततक
ू ल पररन्स्तधर्यों िें इनका बर्चाव आवश्यक हैं
उति रखरखाव से पररवार शन्क्तशाली एवं क्रियाशील बनाये रखे जा सकते है
िधुिक्खी पररवार को षवमभन्न प्रकार क
े रोगों एवं शिुओं का प्रकोप सिय
सिय पर होता रहता है। न्जनका तनदान उधर्चत प्रबंधन द्वारा क्रकया जा
सकता है इन न्स्तधर्यों को ध्यान िें रखते हुए तनम्न प्रकार वाषिगक प्रबंधन
करना र्चादहये।
1. शरदऋतु िें िधुवादटका का प्रबंधन
2. बसंत ऋतु िें िौन प्रबंधन
3. ग्रीष्ि ऋतु िें िौन प्रबंधन
4. विाग ऋतु िें िौन प्रबंधन
14. मधुमक्खी पररवार का उनित रखरखाव एवं प्रबंधन
1. शरदऋतु में मधुवाटटका का प्रबंधन
टाट की बोरी का दो तह बनाकर आंतररक ढक्कन क
े नीर्चे त्रबछा देना र्चादहए
गेहूं क
े भूंसे या धान क
े पुवाल से अच्छी तरह िौन गृह को ढक देना र्चादहए
घास फ
ू स या पुवाल का छापर टाट बना कर बक्सों को ढक देना र्चादहए
इस सिय िौन गृहों को सूखे और धुप वाले स्र्ान िें रखना र्चादहए
बाहरी संसाधन कि होने पर 50-50 क
े अनुपात िें र्चीनी और पानी का घोल बनाकर
उबालकर ठंडा होने क
े पश्र्चात िौन गृहों क
े अंदर रख देना र्चादहये
िौन गृहों की िरम्ित अक्टूबर नवम्बर तक अवश्य करा लेना र्चादहए
ज्यादा ठंढ होने पर िौन गृहों को नही खोलना र्चादहए
15. मधुमक्खी पररवार का उनित रखरखाव एवं प्रबंधन
2. बसंत ऋतु में मौन प्रबंधन
बसंत ऋतु सबसे अच्छी िानी जाती है
िौन गृहों को खाली कर अच्छी तरह से सफाई कर लेना र्चादहए
िौन गृहों पर बहार से सफ
े द पेंट लगा देना र्चादहए
16. मधुमक्खी पररवार का उनित रखरखाव एवं प्रबंधन
3. ग्रीष्म ऋतु में मौन प्रबंधन
िौन गृहों को क्रकसी छायादार स्र्ान पर रखना र्चादहए, लेक्रकन सुबह की सूयग की रौशनी िौन
गृहों पर पड़नी आवश्यक है न्जससे िधुिन्क्खयााँ सुबह से ही सिीय होकर अपना कायग करना
प्रारम्भ कर सक
े
पानी को उधर्चत व्यवस्र्ा िधुवाततका क
े आस पास होना र्चादहये
लू से बर्चने क
े मलए छ्प्पर का प्रयोग करना र्चादहये
बाहरी संसाधन कि होने पर 50-50 क
े अनुपात िें र्चीनी और पानी का घोल बनाकर
उबालकर ठंडा होने क
े पश्र्चात िौन गृहों क
े अंदर रख देना र्चादहये
17. मधुमक्खी पररवार का उनित रखरखाव एवं प्रबंधन
4. वर्ाा ऋतु में मौन प्रबंधन
विाग ऋतु िें तेज विाग, हवा और शिुओं जैसे र्चींदटयााँ, िोिी पतंगा, पक्षक्षयों का प्रकोप होता है
िोिी पतंगों क
े प्रकोप को रोकने क
े मलए छतो को हटा दे
फ्लोर बोड को साफ करे तर्ा गंधक पाउडर तछडक
े
र्चींटीयों की रोकर्ाि क
े मलए स्टैंड को पानी भरा बतगन िें रखे
िोिी पतंगों से प्रभाषवत छत्ते, पुराने काले छत्ते एवं फफ
ूं द लगे छत्तों को तनकल कर अलग कर
देना र्चादहए।