सीता के स्वयंवर में रावण भगवान शिव का धनुष उठाने में असफल क्यों रहा
- 2. राजा जनक ने अपनी पुत्री सीता के
विवाह के लिए एक विशेष आयोजन
किया। उन्होंने कहा कि जो व्यक्ति
शिव का धनुष उठा सके गा उसका
विवाह सीता से होगा।
- 3. धार्मिक पुराणों के अनुसार इस
स्वयंवर में सिर्फ भगवान राम ही
नहीं बल्कि रावण भी मौजूद रहता
है।
- 4. रावण इतना शक्तिशाली था कि
उसने एक बार अपने बल से
कै लाश पर्वत उठा लिया था, ऐसे में
उसके लिए शिव धनुष उठाना
सामान्य बात थी।
- 5. लेकिन जब रावण धनुष उठाने
गया तो वह उसे हिला तक नहीं
सका। यह दृश्य देखकर न के वल
अन्य लोग बल्कि स्वयं रावण भी
आश्चर्यचकित रह गया।
- 6. सीतास्वयंवर में रावण शिव का
धनुष क्यों नहीं उठा पाया इसका
उत्तर श्रीरामचरितमानस की एक
चौपाई में मिलता है।
- 8. इस चौपाई में भव चापा का अर्थ है
कि धनुष उठाने के लिए शक्ति नहीं
प्रेम की जरूरत है
- 9. सीता स्वयंवर में संरक्षित शिव
धनुष को के वल वही व्यक्ति उठा
सकता है जो दयालु, दयालु और
मृदुभाषी हो। ये सभी गुण के वल
भगवान श्री राम में ही हैं
- 10. और रावण अहंकार और अभिमान
से भरा हुआ था, इसलिए
शक्तिशाली होते हुए भी वह शिव
धनुष नहीं उठा सका।
- 11. यहां दी गई सभी जानकारी
सामाजिक और धार्मिक
मान्यताओं पर आधारित है।